तेलंगाना राज्य के मुख्यमंत्री के.चंद्रशेखर राव (KCR) भी बीजेपी के पथ पर चलते हुए दिखाई पड़ रहें हैं। जिस प्रकार भाजपा ने विधानसभा चुनाव की तारीखों की घोषणा से पूर्व मध्य प्रदेश एवं छत्तीसगढ़ में अपने उम्मीदवारों की सूची जारी कर दी उसी प्रकार केसीआर ने भी विधानसभा चुनाव के लिए भारत राष्ट्र समिति (BRS) के लिए 115 प्रत्याशियों की सूची जारी कर दी है।
भारत राष्ट्र समिति (BRS) के अध्यक्ष एवं तेलंगाना के मुख्यमंत्री के. चंद्रशेखर राव (Telangana CM K Chandrashekar Rao) ने सोमवार को राज्य में आने वाले विधानसभा चुनावों (Assembly Elections 2023) के लिए 119 में से 115 सीटों के लिए उम्मीदवारों की सूची जारी कर दी है। हालांकि, चुनाव आयोग द्वारा अभी तक चुनाव की तारीखों का ऐलान नहीं किया गया है। केसीआर (KCR) के नाम से प्रसिद्ध राव दो सीटों गजवेल और कामारेड्डी से चुनाव लड़ेंगे।
क्या ज्यादातर उम्मीदवारों को पुनः दोहराया गया है
केसीआर का कहना है, कि महज सात विधानसभा क्षेत्रों में उम्मीदवार परिवर्तित किए गये हैं। उन्होंने आगे बताया है, कि पार्टी का घोषणापत्र 16 अक्टूबर को जारी किया जाएगा। केसीआर ने यह भी बताया है, कि हैदराबाद के लोकसभा सांसद असदुद्दीन ओवैसी के नेतृत्व वाली AIMIM सहित BRS की दोस्ती सुचारू रहेगी।
केसीआर भी बीजेपी की रणनीति के रास्ते पर चल रहे हैं
भाजपा ने पिछले सप्ताह आगामी छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश विधानसभा चुनावों के लिए अपने उम्मीदवारों की पहली सूची जारी की, जबकि तारीखों की घोषणा अभी बाकी है। यह पहली बार था कि भाजपा ने चुनाव आयोग द्वारा राज्य चुनावों की घोषणा करने से पहले ही अपने उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है। इसी रणनीति को अब केसीआर ने तेलंगाना में अपनाया है, जहां भाजपा घुसपैठ कर रही है और एक खतरे के रूप में देखी जा रही है।
केसीआर की टीआरएस पार्टी की राजनीतिक स्थिति क्या है
पिछले विधानसभा चुनावों में, बीआरएस, जिसे तब तेलंगाना राष्ट्र समिति (TRS) के नाम से जाना जाता था, ने दक्षिणी राज्य में 119 में से 88 सीटें जीती थीं। केसीआर ने सोमवार को मीडिया से कहा कि उन्हें पूरा भरोसा है कि बीआरएस इस साल 95 से 105 सीटें जीतेगी।
राजनीतिक हलकों में चर्चा है कि तेलंगाना चुनाव के बाद केसीआर इंडिया गठबंधन में शामिल होने पर फैसला ले सकते हैं, जिसमें कांग्रेस भी सदस्य हैं। कांग्रेस तेलंगाना में बीआरएस की राजनीतिक प्रतिद्वंद्वी है, जिसने 2018 के चुनावों में 19 सीटें (28% वोट शेयर) जीती थीं। बतादें, कि मध्य प्रदेश, मिजोरम, राजस्थान और छत्तीसगढ़ के साथ-साथ तेलंगाना में विधानसभा चुनाव इस वर्ष के समापन में होने की आशंका है। केसीआर का प्रयास है, कि सत्ता बरकरार बनी रही।